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"सन्डे स्पेशल हिन्दी ब्लॉग"


प्लांट बेस्ड प्रोटीन

जब भी प्रोटीन की बात करते हैं, तो सबसे पहले अंडा हमारे जेहन में आता है। लेकिन अंडे के अलावा और भी बहुत सी चीजें हैं, जिसमें प्रोटीन की मात्रा ज्यादा होती है। जैसा कि आप भी जानते हैं, प्रोटीन त्वचा, रक्त, मांसपेशियों तथा हड्डियों की कोशिकाओं के विकास के लिए आवश्यक होता है। हमारे शरीर में लाखो कोशिकाए प्रतिदिन नष्ट होती है और लाखो का निर्माण प्रतिदिन होता है प्रोटीन इन नयी कोशिकाओ के निर्माण में और उत्तको की मरम्मत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है लेकिन समस्या यह की प्रोटीन का नियमित रूप से सेवन करें कैसे? मीट, अंडा खाने वाले नियमित रूप से इसका सेवन करके प्रोटीन की पर्याप्त मात्रा ले सकते हैं लेकिन शाकाहारी लोग इसका सेवन नहीं कर पाते हैं। जब शाकाहारियो के लिए प्रोटीन की बात आती है तो उनमे डेरी पदार्थ दूध, दही और चीज का नाम प्रमुख है। क्योकि ये कम्पलीट प्रोटीन के स्त्रोत है जो शरीर को सभी आवश्यक अमीनो अम्ल प्रदान करते है इसके अलावा प्लांट प्रोटीन में सोया प्रोटीन और कुछ अनाजो जैसे  क्विनोआ में कम्पलीट प्रोटीन पाया जाता  है शाकाहारी लोगो के लिए प्लांट बेस्ड प्रोटीन बढ़िया विकल्प है, आइए जानते हैं कुछ प्लांट बेस्ड प्रोटीन के बारे में-
सेम जो प्रोटीन का बढ़िया स्त्रोत है। आसानी से उपलब्ध इस फलीदार सब्जी में आयरन भी प्रचुर मात्रा में होता हैै। इसका घुलनसील फाइबर कोलेस्टेरॉल को नियंत्रित रखने और दिल की सेहत के लिए अच्छा होता हैै।
ब्रोकली प्रोटीन सहित कई प्रकार के पोषक तत्वों से समृद्ध होता है। यह सब्जी कैंसर से लड़ने, कोलेस्ट्रॉल को कम करने, अस्थि घनत्व में सुधार करने, दिल को स्वस्थ रखने और पाचन को दुरूस्‍त रखने में मदद करती है। 

पालक को सबसे पौष्टिक सब्जियों में गिना जाता है। पके हुए पालक के एक कप 5 ग्राम प्रोटीन होता है। पालक में न सिर्फ प्रोटीन होता है, बल्कि कैल्शियम, पोटेशियम व बीटा केरोटीन जैसे महत्वपूर्ण पोषक तत्‍व भी होते हैं। आप इसे पका सकते सकता है या इसके पोषक तत्वों के लिए इसे सैंडविच के रूप में भी खा सकते हैं।

हरी मटर को आहार में शामिल करके आप प्रोटीन की कमी को पूरा कर सकती है। इसके अलावा इसमें विटामिन सी काफी ज्‍यादा होता है जो कि इम्‍यूनिटी को बढाता है और सेहत को ठीक रखता है।

अब बात करते हैं दाल की। प्रोटीन, फाइबर और कई महत्वपूर्ण खनिज तत्वों से भरपूर मसूर पाचन, हृदय स्वास्थ्य और वजन कम करने में सहायक है। गर्भावस्था के दौरान और उसके बाद भी महिलाओं को इसका सेवन जरूर करना चाहिए, क्योंकि एक कप मसूर में लगभग 90 प्रतिशत आवश्यक ऊर्जा की जरूरत को पूरी करता है। रिसर्च में एक बात सामने आई है वे लोग जो हफ्ते में 4 बार दाल का सेवन करते हैं उनका वजन काफी आराम से कम होता है। इसके साथ ही उन्‍हे कभी भी कोलेस्‍ट्रॉल की समस्‍या नहीं आती।

सस्ता बादाम कहा जाने वाली मूंगफली भी कम सेहतमंद नहीं है। अब तो बाजार में पीनट बटर भी मिलने लगा है। यह प्रोटीन का अच्छा स्रोत है। इसमें प्रोटीन के साथ - साथ पोटैशियम भी पाया जाता है, जो स्ट्रोक, डायबिटीज, हृदय रोग व हाई ब्लड प्रेशर जैसी कई बीमारियों से बचाव करता है।

राजमा भले किसे पसंद नहीं है। यह प्रोटीन पाने का भी अच्छा स्त्रोत मना जाता है। 100 ग्राम राजमा में 23 ग्राम प्रोटीन की मात्रा ज्यादा होती है। इतना ही नहीं, इसमें विटामिन की भी भरपूर मात्रा होती है। 

जब बात प्लांट बेस्ड प्रोटीन की हो तो सोया और टोफू को कैसे भूल सकते हैं। प्रोटीन के लिए टोफू भी एक अच्छा विकल्प है। यह ब्रेस्ट कैंसर और प्रोस्टेट कैंसर के जोखिम को कम करने में सहायक होता है। पनीर खाते खाते बोर हो गए हो तो आप टोफू का सेवन पनीर की जगह कर सकते है।

शाकाहारियों के लिए सोया हर रूप में प्रोटीन का अच्छा स्रोत है। सोया मिल्क, सोया नट, शाम को बेवरेज, स्नेक्स आदि रूप में इसका सेवन किया जा सकता है। आजकल लोग, खाने में सोया चाप को भी काफी पसंद करने लगे हैं। इससे उन्हें उच्च मात्रा का प्रोटीन प्राप्त होता है।

सुपर फूड क्विनोआ अधिकतर लोग क्विनोआ के स्वास्थ्य लाभों के बारे में नहीं जानते हैं, लेकिन, शाकाहारियों के लिए यह प्रोटीन और फाइबर का एक अच्छा स्रोत है। इसमें अन्य आनज के मुकाबले लगभग दो गुना फाइबर और आयरन होता है। इसमें ग्लाइसेमिक इंडेक्स निम्न होता है, जिससे यह डायबिटिक मरीज के लिए लाभदायक खाद्य है।
तो अब तो आप समझ ही चुके होंगे कि हमारे शरीर में प्रोटीन की कितनी ज्‍यादा आवश्‍यकता होती है। मगर इसे पाने के लिये जरुरी नहीं कि आपको नॉन वेज डाइट का सहारा लेना पड़े। आप पूरी तरह से शाकाहारी बन कर भी प्रोटीन का सेवन कर सकते हैं। इन सब के अलावा मशरूम, चना, गेंहू, कुट्टू का आटा, ओट्स (जई) व अंकुरित अनाज में भी प्रोटीन पाया जाता है।
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धन्यवाद।

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